पूर्व माओवादियों ने सीखा स्वरोजगार, थामा तरक्की का रास्ता

By : dineshakula, Last Updated : October 9, 2025 | 5:49 pm

रायपुर, छत्तीसगढ़ | बीजापुर जिले के 32 आत्मसमर्पित माओवादियों (Maoists) ने मुख्यधारा में लौटकर अब स्वरोजगार की राह पर कदम बढ़ा लिया है। जगदलपुर स्थित क्षेत्रीय स्वरोजगार प्रशिक्षण संस्थान में इन्होंने एक महीने का कुक्कुटपालन और बकरीपालन का प्रशिक्षण पूरा किया।

इस प्रशिक्षण के दौरान उन्हें पशुपालन के वैज्ञानिक तरीके, उन्नत नस्लों का चयन, चारा प्रबंधन, टीकाकरण, रोगों की पहचान और उपचार जैसे व्यावहारिक विषयों की जानकारी दी गई। इसके अलावा, सरकारी योजनाओं का लाभ उठाने, ऋण प्राप्त करने और उत्पादों को बाजार तक पहुंचाने की रणनीति भी सिखाई गई।

प्रशिक्षण पूरा करने वाले एक पूर्व माओवादी ने बताया कि जंगल का जीवन कठिन और खाली था, लेकिन अब सरकार की पुनर्वास नीति की वजह से उन्हें एक नई दिशा मिली है। उन्होंने मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की इस पहल की सराहना करते हुए कहा कि अब वे अपने हाथों से मेहनत कर सम्मानजनक जीवन जी सकते हैं।

सरकार की इस अभिनव पुनर्वास नीति का उद्देश्य आत्मसमर्पित माओवादियों को समाज की मुख्यधारा से जोड़कर उन्हें स्वावलंबी बनाना है। यह कदम ना केवल इन युवाओं को एक नई शुरुआत दे रहा है, बल्कि क्षेत्र में स्थायी शांति और विकास की दिशा में भी मददगार साबित हो रहा है।