रायपुर। कांग्रेस की पूर्ववर्ती सरकार में रीपा केंद्रों के निर्माण में हुए भ्रष्टाचार का मुद्दा (Issue of corruption) आज सदन में उठाया। धरमलाल कौशिक ने इस पर प्रश्न पूछे। इसके बाद इसे लेकर सदन में जमकर हंगाम हुआ। इसमें सत्ता और विपक्ष के विधायकों ने एक दूसरे से कहासुनी करने लगे। वैसे इसमें लगे भ्रष्टाचार के अारोपों पर गृहमंत्री विजय शर्मा ने आश्वासन दिया कि इसकी जांच कराई जाएगी।
कौशिक ने कहा-सिर्फ ऑडिट में 80 लाख रुपए खर्च किए
धरमलाल कौशिक ने दंतेवाड़ा और जशपुर जिले का उदाहरण देते हुए बताया कि करोड़ों रूपये के रीपा केंद्र (RIPA Center) की स्थापना में 50 से 80 लाख रूपये प्रोजेक्ट रिपोर्ट बनाने में खर्च किया गया। धरमलाल कौशिक के इस सवाल के बाद विधायक अजय चंद्राकर ने रीपा के नाम पर जमकर भ्रष्टाचार किये जाने का गंभीर आरोप लगाया।
कांग्रेस के काल में खुले रीपा केंद्रों में कमाई नगण्य
छत्तीसगढ़ में कांग्रेस के शासन काल में प्रदेश में 300 रीपा केंद्र खोले गये। ग्रामीणों के आर्थिक उत्थान के लिए खोले गये इन रीपा केंद्रो में डीएमएफ सहित अन्य विभागीय फंडो का इस्तेमाल कर करीब 600 करोड़ रूपये पूर्ववर्ती सरकार ने खर्च किये थे। इस मुद्दे पर आज सदन में जमकर हंगामा हुआ। विधायक धरमलाल कौशिक ने प्रदेश भर के रीपा में विभिन्न मदों के फंड से की गई खरीदी की जानकारी मांगी थी। धरमलाल कौशिक के सवाल के साथ ही विधायक अजय चंद्राकर ने रीपा के नाम पर हुए करोड़ों रूपये के भ्रष्टाचार का गंभीर आरोप लगाया। उन्होने आरोप लगाया कि पूववर्ती सरकार ने 600 करोड़ खर्च कर रीपा केंद्र खोले, लेकिन इन केंद्रों से होने वाली कमाई कुछ भी नही है।
गृहमंत्री भी रीपा के हालात से संतुष्ट नहीं
अजय चंद्राकर और धरमलाल कौशिक के सवाल पर गृहमंत्री विजय शर्मा ने जवाब देते हुए स्पष्ट किया कि उन्होने खुद कई रीपा केंद्रो में जाकर स्थिति देखी है, कई जगहों पर मशीने भी नही है। गृहमंत्री ने रीपा केंद्र के नाम पर हुए खरीदी पर ऑडिटर जनरल (AG) से सारी खरीदी के ऑडिट कराये जाने की बात कही। इसके साथ ही मुख्य सचिव की अध्यक्षता में प्रदेश के 300 रीपा केंद्रो की जांच कराये जाने की भी बात कही।
निर्माण में भर्राशाही का आरोप…
वहीं रीपा के मुद्दे पर विधायक धरमजीत सिंह ने भी सवाल उठाये। उन्होने आरोप लगाया कि पिछली सरकार में आनन-फानन में रीपा बनवाये गये। जिसके लिए गांव के सरपंचो पर दबाव बनाकर उनसे हस्ताक्षर कराकर रीपा के नाम पर करोड़ों रूपये की खरीदी की गयी।
भुगतान बकाया, सरपंच तनाव में
धरमजीत सिंह ने कहा कि आज भी प्रदेश के कई रीपा केंद्रो में सामानों की खरीदी का भुगतान नहीं हो सका है। जिसका तगादा लगातार व्यापारी गांव के सरपंच से कर रहे है। ऐसी स्थिति में गांव के सरपंच काफी तनाव में है और कभी भी वे आत्महत्या कर सकते है।
AG करेंगे खर्च का ऑडिट
विधायकों के आरोपों के बाद गृहमंत्री विजय शर्मा ने रीपा में हुए खर्च का AG से ऑडिट कराने के साथ ही मुख्य सचिव की अध्यक्षता में तीन महीने में जांच पूरा कराने की घोषणा किया।
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