भूपेश सरकार से ‘नाराज 5 लाख कर्मचारी’!,समझें सियासी मायने, देखें VIDEO

By : madhukar dubey, Last Updated : March 7, 2023 | 11:58 am

छत्तीसगढ़। भूपेश के बजट (Bhupesh’s budget) में सभी को कुछ न कुछ जरूर मिला। एक बेहतर छत्तीसगढ़ गढ़ने की भूपेश सरकार की शानदार कोशिश रही। लेकिन फिर भी सभी की मुरादें पूरी करना भूपेश के सामने बजट में सबसे बड़ी चुनौती थी। वैसे राजनीति के जानकार कहते हैं, इनकी मांगों को सरकार को मान लेना चाहिए थ। क्योंकि ये एक बड़ा वर्ग था, जिसे कांग्रेस को साध लेना था। कम से कम नियमित (employees) करने का वादा कर सकते थे।

गौरतलब है, प्रदेश में करीब साढ़े पांच लाख अनियमित कर्मचारी हैं, जो लगातार अपनी मांगों को लेकर आंदोलनरत हैं। ऐसे में अगर देखा जाए तो पांच लाख कर्मचारियों से करीब 30 लाख जुड़े हैं। वहीं इनके संबंधों को जोड़कर देखा जाए तो इनकी भूमिका करीब 2 करोड़ वोट विपक्ष के खाते में जा सकता है। यही कारण भी है कि बीजेपी इनके साथ खड़ी है। वह भी वादे के साथ अगर सत्ता में आई तो इन्हें नियमित करेगी।

इधर, संघ ने निर्णय लिया है कि चुनाव के दौरान कांग्रेस के विरोध में गुप्त रूप से प्रचार करेंगे और बीजेपी को वोट करेंगे। ऐसे में जाहिर है कि ये वर्ग कहीं न कहीं कांग्रेस को कमजोर करने का काम करेंगे। इसमें तमाम विभागों के संघ भी शामिल हैं।

छत्तीसगढ़ शालेय शिक्षक संघ के प्रांताध्यक्ष वीरेंद्र दुबे ने कर्मचारियों की निराशा को व्यक्त करते हुए कहा कि सरकार को कम से कम अपने जनघोषणा पत्र में किये गए वादों को पूरा करना था जिसमे उन्होंने वादा किया है कि प्रदेश कर्मचारियों को केंद्र के बराबर मंहगाई भत्ता और सातवें वेतनमान के अनुरुप भत्ता प्रदान किया जायेगा किंतु अभी तक इसे पूर्ण नही किया गया।

पदोन्नति से वंचित शिक्षक एल बी संवर्ग को क्रमोन्नत्ति प्रदान करने का भी वादा था पर यह भी पूर्ण नही हुआ। विभिन्न संवर्ग के वेतन विसंगति को दूर करने का वादा था किंतु इसका तो उल्लेख ही बजट में नही किया गया।

हम लगातार पूर्व सेवा गणना कर समस्त लाभ दिए जाने की मांग कर रहे है किंतु इसकी भी अनदेखी की गई है। दिवंगत शिक्षाकर्मी की विधवा बहनों से किया अनुकम्पा नियुक्ति का किया गया वादा भी पूर्ण नही किया गया। प्रदेश के समस्त कर्मचारी अत्यंत निराश है कि आज बजट में उनकी कोई मांग नही मानी गई है।

प्रदेश महासचिव धर्मेश शर्मा ,कार्यकारी अध्यक्ष चंद्रशेखर तिवारी और प्रांतीय प्रवक्ता जितेंद्र शर्मा ने कहा कि यह छ्ग सरकार का अंतिम बजट था,कर्मचारियों की विभिन्न अपेक्षाएं सरकार से थी किंतु वह सभी अधूरी रह गई जिससे कर्मचारियों में निराशा व्याप्त है।

कम से कम जनघोषणा पत्र में किये वादों को पूर्ण करना था। उम्मीद जताते हैं कि मुख्यमंत्री जी यथासमय अनुपूरक बजट लाकर हमारी मांगो को पूर्णता प्रदान करेंगे। पर जो भी वादे पूरे किए जाने है जल्द ही किये जाने चाहिए क्योंकि देर से मिला न्याय भी अन्याय की श्रेणी में आता है। प्रदेश के समस्त प्रांतीय,जिला,ब्लाक पदाधिकारियों तथा समस्त शिक्षक एल बी संवर्ग ने जल्द ही सभी मांग पूर्ण करने की मांग मुख्यमंत्री से की है।