भूपेश कराएंगे साढ़े 7 हजार कन्याओं के हाथ पीले!, देंगे गृहस्थी के उपहार

By : madhukar dubey, Last Updated : May 16, 2023 | 7:55 pm

रायपुर। छत्तीसगढ़ में गरीब परिवारों की बेटियों की शादी अब पूरे सम्मान के साथ होगी। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (Bhupesh Baghel) की पहल पर मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना (Chief Minister Kanya Marriage Scheme) की राशि अब बढ़ाकर 50 हजार रूपए कर दी गई है। विवाह के अवसर पर प्रत्येक कन्या को 21 हजार रूपए की राशि बैंक खाते या बैंक ड्रॉफ्ट के रूप में दी जाएगी। इसके अलावा 15 हजार रूपए की राशि के उपहार भी दिए जाएंगे। चालू वित्तीय वर्ष में प्रथम छमाही में तीन हजार कन्याओं और वार्षिक आधार पर 07 हजार 500 कन्याओं के विवाह का लक्ष्य निर्धारित किया है, इससे कई निर्धन परिवारों का अपनी बेटियों के सम्मानजनक रूप से विवाह का सपना पूरा हो सकेगा।

गरीब परिवार की हर बेटी के विवाह पर व्यय की जाएगी 50 हजार रूपए की राशि

मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना में प्रत्येक कन्या को विवाह आयोजन व्यवस्था और परिवहन पर प्रति कन्या 8 हजार रूपए, इसके साथ विवाह के मौके पर वर-वधु के कपड़े, श्रृंगार सामग्री इत्यादि पर 6 हजार रूपए खर्च किए जाएंगे। इसके साथ ही विवाहित जोड़े को 15 हजार रूपए की उपहार सामग्री भी भेंट की जाएगी। गौरतलब है कि मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने बेटियों के विवाह के लिए सहायता राशि में दो बार वृद्धि की है। श्री बघेल ने वर्ष 2019 में योजना के तहत सहायता राशि को 15 हजार रूपए से बढ़ाकर 25 हजार रूपए कर दिया था। अब 2023-24 के बजट में यह राशि बढ़ाकर 50 हजार रूपए कर दी गई है। वर्ष 2019 की तुलना में निर्धारित बजट राशि भी दोगुनी करते हुए 38 करोड़ रूपए कर दी गई है।

विवाह के मौके पर कन्या को मिलेगा 21 हजार रूपए का ड्रॉफ्ट और 15 हजार रूपए का उपहार

योजनान्तर्गत गरीबी रेखा से नीचे जीवन-यापन करने वाले परिवार और मुख्यमंत्री खाद्यान्न योजना अंतर्गत कार्डधारी परिवार की 18 वर्ष से अधिक आयु की अधिकतम दो कन्याओं को आर्थिक सहायता दी जाती है। योजनांतर्गत विधवा, अनाथ, निराश्रित कन्याओं को भी शामिल किया जाता है। योजना का लाभ लेने के लिए जिला महिला एवं बाल विकास अधिकारी/जिला कार्यक्रम अधिकारी कार्यालय में संपर्क किया जा सकता है। विकास खंड स्तर पर बाल विकास परियोजना अधिकारी या एकीकृत बाल विकास अधिकारी से संपर्क कर सकते हैं। योजना के संबंध में अपने क्षेत्र के आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं से भी जानकारी ली सकती है।

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