रायपुर, 5 जुलाई, 2024/ राज्य स्तरीय शाला प्रवेशोत्सव (State level school entrance festival) के मौके पर मुख्यमंत्री विष्णु देव साय (Chief Minister Vishnu Dev Sai) ग्राम बगिया के उसी स्कूल कैंपस में पहुंचे जहां कई बरस पहले उन्होंने अपनी पांचवी कक्षा की पढ़ाई की थी। उन्होंने बताया कि स्कूल को साफसुथरा रखने हम लोग घर से गोबर लाकर लिपाई करते थे। स्कूल के रखरखाव की पूरा गांव चिंता करता था और छत की मरम्मत गांव वाले मिलकर करते थे। टाटपट्टी भी नहीं थी, घर से बोरी लेकर आते थे, सीसी रोड भी नहीं था। पांचवी बोर्ड का सेंटर भी नहीं था और सेरामोंगरा जाना पड़ता था। अब शिक्षा के लिए इतनी सुविधाएं उपलब्ध हुई हैं तो अच्छा लगता है। चूंकि शिक्षा हमारे विकास का मूलमंत्र है अतएव इसकी बेहतरी के लिए हम लगातार काम कर रहे हैं।
मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर जशपुर (Jashpur) में दिव्यांग आदर्श आवासीय विद्यालय की घोषणा के साथ ही ग्राम बगिया और बंदरचुआ के स्कूल (Schools of Village Bagiya and Bandarchua) को आदर्श विद्यालय बनाने की घोषणा भी की। साथ ही उन्होंने फरसाबहार में हायरसेकेंडरी स्कूल की घोषणा भी की। अपने संबोधन में मुख्यमंत्री ने कहा कि आज का दिन मेरे और बगिया वासियों के लिए ऐतिहासिक दिन है। मैंने बगिया में पांचवीं तक की पढ़ाई की है। शिक्षा मात्र डिग्री या नौकरी हासिल करने के लिए नहीं है। यह जीवन बदलता है। आप शिक्षित और अशिक्षित व्यक्ति के जीवन स्तर को देखकर स्वयं भी अंदाजा लगा सकते हैं कि शिक्षा का जीवन में कितना महत्व है। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्राचीन काल से ही हमारा देश शिक्षा के क्षेत्र में विश्वगुरु रहा है। नालंदा और तक्षशिला से शिक्षा प्राप्त कर बहुत से लोग आगे बढ़े।
मुख्यमंत्री ने कहा कि स्कूलों में न्योता भोज का आयोजन भी किया जा रहा है। कोई भी अपने जन्मदिन और अन्य विशेष दिन में स्कूली विद्यार्थियों को न्यौता भोज दे सकते हैं। मुख्यमंत्री ने जशपुर जिले के पदमश्री श्री जागेश्वर यादव को मंच पर अपने पास बुलाकर कहा कि इन्होंने हॉफ पेंट पहनकर और बिना चप्पल पहने विशेष पिछड़ी जनजाति के पहाड़ी कोरवा, बिरहोर जनजाति समाज की निरंतर सेवा की। उनकी सेवा के बदौलत उन्हें राष्ट्रपति ने पद्मश्री से सम्मानित किया। मुख्यमंत्री ने कहा कि एक व्यक्ति चाहे तो दूसरों की भलाई करके भी बहुत आगे बढ़ सकता है। आप भी इनसे बहुत कुछ सीख सकते हैं।
इस अवसर पर वित्त मंत्री ओपी चौधरी ने अपने संबोधन में कहा कि सच्चे संकल्प के साथ किये गये प्रयत्न से मुख्यमंत्री ने निश्चित ही सफलता मिलती है। आज जिस स्कूल में खड़े हैं इसी स्कूल से अपनी प्राथमिक शिक्षा पूरी की है और प्रदेश का नेतृत्व कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि मेरे समय भी संसाधन कम थे लेकिन मेरी मां ने मुझे हमेशा पढ़ने के लिए प्रेरित किया। समाज को बदलने का एकमात्र माध्यम शिक्षा है। इस मौके पर सांसद राधेश्याम राठिया ने कहा कि सरकार बच्चों को बेहतर शिक्षा के लिए सभी सुविधाएं प्रदान कर रही हैं। आप खूब पढ़े और आगे बढ़ें। विधायक जशपुर श्रीमती रायमुनी भगत ने कहा कि शिक्षकों के साथ अभिभावक भी बच्चों की पढ़ाई के लिए मेहनत करें, इससे निश्चित रूप से शिक्षा का स्तर बढ़ेगा।
इस मौके पर हाईस्कूल छात्राओं को मुख्यमंत्री साय ने साइकिल वितरित की। छात्राओं ने घंटी बजाकर अपनी खुशी का इजहार किया। साथ ही उन्होंने मेधावी बच्चों को सम्मानित भी किया। यही नहीं होनहार छात्र-छात्राओं के अभिभावकों का भी सम्मान किया। साथ ही विनोबा एप के माध्यम से बेहतर शिक्षण कर रहे शिक्षकों का भी सम्मान किया। मुख्यमंत्री ने बच्चों से मुलाकात कर उनकी बनाई सामग्री देखी।
मुख्यमंत्री ने इस मौके पर एक पेड़ मां के नाम अभियान अंतर्गत मां के सम्मान में रुद्राक्ष का पौधा रोपा। साथ ही उन्होंने लोगों से प्रधानमंत्री के आग्रह पर एक पेड़ मां के नाम लगाने का आग्रह भी किया। मुख्यमंत्री ने कहा कि हर कोई अपनी मां के सम्मान में पेड़ लगाएगा तो भारत की जनसंख्या के बराबर पेड़ लग जाएंगे, इससे हरियाली का दायरा बहुत बढ़ जाएगा।
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