मंत्री अमरजीत भगत उग्र भीड़ में फंसे!, जानें, वाक्या
By : madhukar dubey, Last Updated : December 16, 2022 | 4:42 pm
किसी तरह से मंत्री को भीड़ से बाहर निकाला गया, लेकिन अधिकारी फंस गए
इसी बीच जैसे ही मंत्री और अफसर वहां पहुंचे, तो ग्रामीणों ने फिर वहां मंत्री से बात कराने के लिए अफसरों से कहा, लेकिन ऐसा नहीं हो सका। इसके बाद लोगों का गुस्सा फूट पड़ा और फिर मंत्री को गांववालों ने घेर लिया। इसके बाद तुरंत मंत्री अमरजीत भगत के सुरक्षाकर्मी एक्टिव हुए। उन्होंने बड़ी ही मुश्किल से मंत्री अमरजीत को किसी तरह से लोगों की भीड़ से बाहर निकाला और गाड़ी में बिठाया। मंत्री तो वहां से निकल गए, लेकिन अधिकारियों को गांववालों ने घेर लिया। इसके बाद गुस्साए लोगों को देखकर पुलिस बुलानी पड़ी। यहां ग्रामीणों ने करीब डेढ़ घंटे तक अफसरों को फिर से घेरे रखा, काफी समझाने के बाद वे माने। वैसे खाद्य मंत्री अमरजीत भगत ने कहा कि वे ग्रामीणों के साथ है, वहां किसी भी हालत में फैक्ट्री नहीं बनने देंगे। इसके लिए वे शासन स्तर पर अधिकारियों से बात करेंगे।
इस प्लांट के खुलने का इसलिए हो रहा विरोध
ग्रामीणों का कहना है कि एल्युमिना प्लांट खुलने से ९० लाख मिलियन क्यूबिक मीटर पानी लगेगा। अगर इतने पानी की खपत होगी, तो घुनघुटा नदी सहित वहां के आसपास के नदी-नाले सूख जाएंगे। कंपनी १२ माह एल्यूमिनियम का उत्पादन करेगी, तो प्लांट से प्रदूषण भी होगा और इससे वहां उनका रहना मुश्किल हो जाएगा। ग्रामीण इससे पहले भी कई बार विरोध-प्रदर्शन कर चुके हैं, तो जनसुनवाई में भी अफसरों को विरोध के कारण जान बचाकर भागना पड़ा था। इतना ही नहीं ग्रामीण इससे पहले नेशनल हाईवे भी कई बार जाम कर चुके हैं।