जगदलपुर/बीजापुर। छत्तीसगढ़ में बीजापुर जिले के एडसमेटा (adasmata) में साल 2013 को हुए कथित गोलीकांड के 10 साल पूरे हो गए हैं। 10वीं बरसीं पर मृतकों को न्याय दिलाने ग्रामीणों ने गांव में विशाल सभा रखी। इस दौरान आबकारी मंत्री कवासी लखमा और बीजापुर विधानसभा से MLA विक्रम मंडावी (MLA Vikram Mandavi) पर ग्रामीणों का जमकर गुस्सा फूटा। कहा कि ये लोग सिर्फ वोट की राजनीति कर रहे हैं।
दरअसल, एडसमेटा गोलीकांड में करीब 3 बच्चों समेत कुल 8 लोग मारे गए थे। अब इस घटना को 10 साल पूरे हो गए हैं। उस समय विपक्ष में रही कांग्रेस ने भाजपा सरकार पर जमकर निशाना साधा था। इस मामले की जांच करने मंत्री कवासी लखमा के नेतृत्व में एक जांच दल बनाया गया था। इस दल ने ग्रामीणों को आश्वासन दिया था कि कांग्रेस की सरकार यदि बनी तो उन्हें न्याय जरूर मिलेगा। साल 2018 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस ने पूर्ण बहुमत के साथ सरकार बनाई।
ग्रामीणों ने कहा, कवासी लखमा मंत्री बने। विक्रम मंडावी विधायक की कुर्सी पर बैठे। जिसके बाद ग्रामीणों को उम्मीद थी कि अब एक बार फिर से एडसमेटा गोलीकांड की फाइल खुलेगी। 14 मार्च 2022 को विधानसभा में मामला उठा भी। जस्टिस वीके अग्रवाल कमीशन की तरफ से मामले की जांच की जाने की बात कही गई। ग्रामीणों का कहना है कि, सरकार बने 4 साल का समय हो गया, पांचवा साल आ गया है। इसी साल चुनाव हैं। इस मामले की निष्पक्ष जांच और दोषियों पर कार्रवाई करने की मांग लगातार जारी है।
हर साल 17 मई को इलाके के ग्रामीण इस गोलीकांड की बरसीं मनाते हैं। बुधवार को भी इलाके के सैकड़ों ग्रामीणों ने गोलीकांड की 10वीं बरसीं मनाई। इस दौरान आस-पास गांव के सैकड़ों ग्रामीण एडसमेटा गांव पहुंचे। यहां मृतकों के स्मारक में श्रद्धांजलि दी। साथ ही विशाल सभा का आयोजन कर सरकार पर कई आरोप भी लगाए।
इस चर्चित गोलीकांड में कारम पांडू, कारम गुड्डू, कारम जोगा, कारम बदरू , कारम सोमलु, कर्मा मासा, पूनम लाकु, पूनेम सोनू मारे गए थे। अब ग्रामीण इन सभी मृतकों के परिजनों को एक-एक करोड़ रुपए देने और घायलों को 50-50 लाख रुपए देने की मांग कर रहे हैं।
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