वाह! जनाब अकबर, बनाएंगे छत्तीसगढ़ में फूलों की घाटी!
By : hashtagu, Last Updated : October 28, 2022 | 7:02 pm
छत्तीसगढ़/रायपुर। जब कोई ऐसा बदलाव हो जो अभी तक कोई हाकिम नहीं कर सका हो तो जाहिर है अगर कुछ ऐसा वर्तमान के हाकिम कर दें तो हर किसी का चौंकना लाजमी है। जी हां, ये कोई न तो जुमला है और न ही कोई ख्यालीपुलाव। यहां बात कर रहे हैं वन विभाग के मंत्री मोहम्मद अकबर की पौध रोपण योजना की।
इस बार तो इन्होंने छत्तीसगढ़ में एक नायाब और अनूठा प्लान तैयार किया है। इनकी योजना का खाका भी ऐसा है कि जब इसकी पूरी रणनीति लोगों के सामने आई तो लोग सहसा ही कहने लगे, वाह जनाब अकबर जी!। वैसे ये जुमला तब सुनने का मिलता है, जब कोई किसी काम को एक साख अंदाज में कर दे। कुछ ऐसी ही लोगों में चर्चा-ए-आमहैं। ऐसा हो भी क्यों न क्योंकि इन्होंने 26 नदियों के किनारे और इसके आसपास की सरकारी जमीनों पर फूल और पौधों की बगिया बसाने की योजना बना ली है। इतना ही नहीं फूलों की घाटी के रूप को मूर्त रूप देने के लिए अपने मातहतों को दिशा-निर्देश भी दे दिए हैं। भले ही आने वाले समय में इस योजना से नदियों के किनारे पर कैसी हरियाली आएगी, ये तो आने वाला वक्त ही बताएगा। बहरहाल, जिस तरीके से नदियों के किनारे 15 लाख फूल व पौधों की योजना बनाई गई है, उससे तो आम आदमी यही सोच रहा है कि मंत्री मोहम्मद अकबर जी फूलों की घाटी जम्मू कश्मीर जैसा नजारा छत्तीसगढ़ की प्रमुख नदियों के किनारे लोगों दीदार कराएंगे।वैसे भविष्य में चाहे जो हो, लेकिन योजना काबिले-ए-तारिफहै।
15 लाख 41 हजार पौधों का रोपण कर हरीतिमा लाने की बेजोड़ पहल
छत्तीसगढ़ में चालू वर्षा ऋतु 2022 के दौरान नदी तट वृक्षारोपण कार्यक्रम के तहत 26 विभिन्न नदियों के तट पर लगभग 15 लाख 41 हजार पौधों का रोपण किया गया है। इसके रोपण से नदी तट के 1 हजार 400 हेक्टेयर रकबा हरीतिमा से आच्छादित और फल-फूल के पौधों से सुरभित होंगे, जो विशेष आकर्षण का केन्द्र होगा।
इन नदियों की लहरों के किनारे लहराएगी फूल-पौधों की बगिया
वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री मोहम्मद अकबर के मार्गदर्शन में विभाग द्वारा नदी तट रोपण का कार्य किया गया। इनका रोपण कैम्पा तथा विभागीय मद सहित नदी तट वृक्षारोपण कार्यक्रम के तहत किया गया है। नदी तट रोपण कार्यक्रम के तहत चालू वर्ष के दौरान शामिल नदियों में शिवनाथ, फुलकदेई, केंदई, लीलागर नदी, महानदी, हसदेव, आगर, रेड नदी, मेघानाला, झींका नदी, मोरन, सोंढूर, बांकी नदी, गलफुला, हसदो नदी, नेउर नदी, केवई, खटम्बर, भैसुन, चूंदी, भवई नदी, बनास नदी, रांपा नदी तथा भुलू नदी आदि शामिल हैं।
प्रधान मुख्य वन सरंक्षक बोले, हम होंगे कामयाब
प्रधान मुख्य वन संरक्षक एवं वन बल प्रमुख संजय शुक्ला ने बताया कि इनमें से बिलासपुर वृत्त अंतर्गत बिलासपुर, मरवाही, कोरबा, धरमजयगढ़ तथा जांजगीर-चांपा वन मंडल स्थित 8 नदियों के 263 हेक्टेयर रकबा में 2 लाख 89 हजार पौधों का रोपण किया गया है। इसी तरह कांकेर वृत्त अंतर्गत 4 नदियों के 19 हेक्टेयर रकबा में 20 हजार 595 पौधे तथा रायपुर वृत्त अंतर्गत 2 नदियों के 29 हेक्टेयर रकबा में 31 हजार 900 पौधों का रोपण किया गया है। इसके अलावा सरगुजा वृत्त अंतर्गत सूरजपुर, बलरामपुर, कोरिया तथा मनेन्द्रगढ़ वन मंडल स्थित 12 नदियों के 1 हजार 76 हेक्टेयर रकबा में 19 लाख 84 हजार पौधों का रोपण किया गया है। हरियाली कायम करने में जरूर हम कामयाब होंगे।