आंध्र प्रदेश: चलती बस में आग लगने से 20 यात्री जिंदा जल गए, हादसा बाइक टक्कर के बाद हुआ

By : dineshakula, Last Updated : October 24, 2025 | 6:06 am

कुर्नूल, आंध्र प्रदेश: आंध्र प्रदेश के कुर्नूल जिले में शुक्रवार तड़के एक प्राइवेट बस में भीषण आग (bus accident) लगने से 20 यात्री जिंदा जल गए। यह दर्दनाक घटना चिन्नाटेकुर के पास नेशनल हाईवे 44 पर हुई। जानकारी के अनुसार, हादसा तब हुआ जब एक बाइक बस से टकरा गई और बाइक का फ्यूल टैंक बस के नीचे फंस गया, जिससे आग लग गई। आग के फैलते ही बस में सवार यात्री घबराकर इधर-उधर दौड़ने लगे, लेकिन ज्यादातर यात्री आग में झुलस गए। मृतकों की संख्या बढ़ने की आशंका जताई जा रही है।

घटना की जानकारी
सूत्रों के मुताबिक, बस हैदराबाद से बेंगलुरु जा रही थी और सुबह लगभग 3:30 बजे हादसा हुआ। दुर्घटना के समय बस में 40 यात्री सवार थे। बाइक सवार शिवशंकर की भी मौके पर ही मौत हो गई। घटना के बाद बस का दरवाजा बंद हो गया, जिससे यात्रियों को बाहर निकलने का मौका नहीं मिला। बस में आग लगने के बाद शॉर्ट सर्किट होने से और स्थिति विकट हो गई। वहीं, इमरजेंसी गेट टूटने से 19 यात्री किसी तरह बाहर निकले, लेकिन उनमें से कई बुरी तरह झुलस गए हैं और उन्हें कुर्नूल सरकारी अस्पताल में भर्ती कराया गया है।

कुर्नूल के डीआईजी का बयान
कुर्नूल रेंज के डीआईजी कोया प्रवीण ने बताया कि घटना में 21 यात्री बाल-बाल बच गए, जिनमें 2 बच्चे भी शामिल हैं। हालांकि, कई शव पूरी तरह जल चुके हैं, जिसके कारण उनकी पहचान करना मुश्किल हो रहा है। घटना के वक्त अधिकांश यात्री सो रहे थे, जिससे वे खुद को बचा नहीं पाए।

सहायता और रेस्क्यू ऑपरेशन
हादसे के बाद जिला कलेक्टर डॉ. ए सिरी ने घटनास्थल का दौरा किया और हेल्पलाइन नंबर जारी किए। लोगों को राहत देने के लिए विभिन्न सरकारी संस्थाओं ने तुरंत राहत कार्य शुरू किया। पीएम मोदी ने भी इस घटना पर शोक जताया और मृतकों के परिवारों के प्रति संवेदनाएं व्यक्त की। प्रधानमंत्री कार्यालय ने मृतकों के परिवार को 2 लाख रुपये और घायलों को 50 हजार रुपये देने की घोषणा की है।

राजस्थान में 10 दिन पहले भी हुआ था बड़ा हादसा
यह घटना राजस्थान के जैसलमेर में हुए एक समान हादसे के ठीक 10 दिन बाद हुई है, जहां 14 अक्टूबर को एक एसी स्लीपर बस में आग लगने से 22 लोग जिंदा जल गए थे। उस हादसे में भी बस का दरवाजा लॉक हो गया था, और यात्रियों को बाहर निकलने का मौका नहीं मिला था।