जेहादी उन्माद के खिलाफ बजरंग दल करेगा देशव्यापी प्रदर्शन

By : brijeshtiwari, Last Updated : January 16, 2023 | 1:17 pm

नई दिल्ली, 16 जनवरी (आईएएनएस)| बजरंग दल (Bajrang Dal) जेहादी उन्माद के खिलाफ 17 और 18 जनवरी को देशव्यापी प्रदर्शन करने जा रहा है। विश्व हिंदू परिषद (Vishwa Hindu Parisad) के केन्द्रीय संयुक्त महामंत्री डॉ सुरेन्द्र जैन ने जेहादी तत्वों पर पूरी उग्रता के साथ हिंदू संगठनों व हिंदू समाज को एक नई रणनीति के तहत निशाना बनाने का आरोप लगाते हुए कहा कि इसके खिलाफ बजरंग दल (Bajrang Dal) 17 और 18 जनवरी को पूरे देश में जिला केंद्रों पर धरना प्रदर्शन करेगा। उन्होंने बताया कि इस देशव्यापी प्रदर्शन के दौरान बजरंग दल जिलाधीश के माध्यम से राष्ट्रपति (President) को ज्ञापन देगा जिसमें जेहादी उन्माद को कुचलने के लिए राष्ट्रव्यापी योजना बनाने का अनुरोध किया जाएगा। विहिप (VHP) नेता ने हमलावरों और उनको भड़काने वाले नेताओं के खिलाफ भी सख्त कार्यवाही करने की मांग की है।

सुरेन्द्र जैन ने आरोप लगाया कि जिहादियों का आतंक किसी नाम का मोहताज नहीं है। सिम्मी को प्रतिबंधित करने के बाद उसके कार्यकर्ता पीएफआई के नाम से काम कर रहे थे। अब पीएफआई (PFI) पर प्रतिबंध के बाद कहीं सिटीजन फोरम या कहीं कुछ और नामों का प्रयोग कर वे अपने आतंकी गतिविधियों के प्रसार में लगे हैं। उन्माद का प्रेरक नाम नहीं जेहादी विचारधारा है। इस पर रोक लगाने के लिए राष्ट्रव्यापी जनमत निर्माण करने और कठोर प्रभावी कदम उठाने की आवश्यकता है।

विहिप नेता ने आगे कहा कि कोरोना का प्रकोप कम होने के बाद जहां पूरा देश प्रगति की राह पर चलने का प्रयास कर रहा है वहीं, जेहादी तत्व पूरी उग्रता के साथ हिंदू संगठनों व हिंदू समाज को एक नई रणनीति के तहत अपना निशाना बनाकर आतंक का माहौल बनाना चाहते हैं।

उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि अब तक संवैधानिक मयार्दाओं का पालन करते हुए केवल स्थानीय स्तर पर विरोध प्रदर्शन कर व ज्ञापन देकर अपना आक्रोश व्यक्त किया है लेकिन लगता है जेहादी तत्वों ने लोकतांत्रिक मयार्दाओं में रहने को बजरंग दल की कमजोरी मान लिया है।

डॉ जैन ने कहा कि अब जिहादी उन्माद हिंदू समाज के लिए एक राष्ट्रव्यापी चुनौती बन गया है। जिहादियों ने हिंदू नेताओं पर हमला करने के लिए एक नई रणनीति अपनाई है। हमला करने के लिए वे नाबालिगों को चुनते हैं इसलिए इन हमलों में शामिल नाबालिगों को बालिग मानकर सजा देने का स्थाई प्रावधान बनाने की आवश्यकता है।