लोहारडीह कांड को लेकर भूपेश बघेल ने भाजपा पर साधा निशाना, उठाए ये सवाल

पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा, “इस पूरे मामले में भाजपा की कार्यशैली पर कई तरह के गंभीर सवाल खड़े होते हैं। इसकी निष्पक्ष जांच की आवश्यकता है।

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  • Publish Date - October 7, 2024 / 11:36 PM IST

रायपुर, 7 अक्टूबर (आईएएनएस)। छत्तीसगढ़ में लोहारडीह कांड को लेकर शुरू हुआ सियासी बवाल थमने का नाम नहीं ले रहा है। अब इसे लेकर पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (Bhupesh Baghel) ने सोमवार को भाजपा सरकार की कार्यशैली पर गंभीर सवाल उठाए।

उन्होंने एफआईआर की कॉपी द‍िखाते हुए कहा, “क्या इस सूची में जितने लोगों के नाम हैं, वो सही हैं, यदि सही नहीं है, तो क्या दोबारा विवेचना की जाएगी। साय सरकार के कुशासन में क्या किसी को न्याय मिलेगा या सीधे फांसी दे दी जाएगी। इस पूरे मामले में पुनर्विवेचना की आवश्यकता है।”

उन्होंने कहा, “इस मामले में बाहर से आए लोगों से लेकर रास्ते चलते लोगों को तक को गिरफ्तार कर लिया गया। सही से पूछताछ तक नहीं की गई है। हमारी मांग है कि आरोपियों की सही से पूछताछ की जाए।”

उन्होंने कहा, “इस मामले में राज्य सरकार की चुप्पी कई तरह के गंभीर सवाल खड़े कर रही है, क्योंकि दो आईएएस और एक आईपीएस अधिकारी को निलंबित कर दिया। आईपीएस अधिकारी को इसलिए निलंबित कर दिया गया कि उससे लापरवाही हुई। दूसरा सबसे अहम सवाल यह है कि आखिर इस मामले में कितनी धाराएं लगीं हैं। मेरी जानकारी के मुताबिक, भारतीय न्याय संहिता की धारा 103 हत्या की धारा, 103(2) मॉब लिंचिंग सहित अन्य धाराओं में केस दर्ज किया गया है।”

उन्होंने कहा, “इस मामले में शामिल आरोपियों को रात में गिरफ्तार किया गया। 167 लोगों के नाम शिकायत दर्ज की गई और उसमें से 69 लोगों को बिना विवेचना के जेल भेजा गया, इसमें पांच लोग ऐसे थे, जो मृतक के पोस्टमार्टम के लिए मध्य प्रदेश गए हुए थे। ”

पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा, “इस पूरे मामले में भाजपा की कार्यशैली पर कई तरह के गंभीर सवाल खड़े होते हैं। इसकी निष्पक्ष जांच की आवश्यकता है। मौजूदा परिस्थिति से यह साफ जाहिर होता है कि इस प्रकरण से जुड़े कई पहलुओं को नजरअंदाज किया गया है।”

गौरतलब है कि 14 सितंबर को कवर्धा के लोहारडीह में शिव प्रसाद साहू नाम के युवक की लाश गांव से करीब 10 किमी दूर मध्यप्रदेश के जंगल में पेड़ से लटकती मिली। युवक की मौत की खबर गांव में फैलते ही बवाल हो गया। लोगों ने गांव के पूर्व सरपंच रघुनाथ साहू पर हत्या का आरोप लगाते उसके मकान की घेराबंदी कर ली। उसके बाद रघुनाथ साहू के परिजनों से मारपीट की गई। उसके घर को भी आग के हवाले कर दिया गया। आगजनी की घटना में पूर्व सरपंच रघुनाथ साहू की मौत हो गई। पुलिस ने इस मामले में 69 लोगों को गिरफ्तार किया और 160 लोगों के खिलाफ शिकायत दर्ज की।