कांग्रेस ने BJP-मोदी को कहा ‘कीलर’, जानें, वजह

By : madhukar dubey, Last Updated : December 28, 2022 | 7:20 pm

छत्तीसगढ़। कांग्रेस ने BJP पर आरक्षण को लेकर बड़ा हमला बोला है। प्रदेश कांग्रेस (Congress) के संचार प्रमुख सुशील आनंद शुक्ला ने कहा कि राजभवन में आरक्षण संशोधन विधेयक को लंबित हुए 27वां दिन है। कहा कि भाजपा नहीं चाहती है कि आदिवासियों को आरक्षण मिले। इसके लिए भाजपा साजिश कर रही है। उन्होंने कहा कि भाजपा आरक्षण कीलर तो पीएम मोदी कैरियर कीलर है। यह बातें प्रदेश कांग्रेस के संचार प्रमुख सुशील आनंद शुक्ला ने कही।

उन्होंने कहा कि भाजपा आरक्षण बिल को लेकर अब साजिश करने में जुटी है। वह चाहती है कि यहां ही नहीं पूरे देश में आरक्षण लागू न हो। इसके लिए वह संवैधानिक संस्थाओं का दुरुपयोग कर रही है। सामने से न सही पीछे यानी राजभवन के माध्यम से आरक्षण को लागू होने नहीं देना चाह रही है। आज विधानसभा में आरक्षण के पारित होने का 27वां दिन है। लेकिन राज्यपाल बीजेपी की मानसिकता और उनके इशारे पर काम कर रही है, जो संवैधानिक व्यवस्था पर प्रश्न चिह्न खड़ा करता है।

बता दें,  सियासत के गलियारे में आरक्षण बिल पर मची रार अभी शांत होने नहीं होने वाली है। क्योंकि राज्यपाल का रूख कुछ भी तय नहीं है। पहले उन्होंने से 10 सवाल सरकार को भेजे, फिर जवाब आ गया तो विधिक सलाहकार के पाले में राजभवन में गेंद डाल दिए। ऐसे में अब राजभवन में लंबित आरक्षण विधेयक पर सियासत गर्म हो गई है।

इधर भूपेश बघेल ने भी कहा कि भाजपा जनता के बीच विलन नहीं बनना चाहती थी। लेकिन पीछे के दरवाजे से राजभवन के माध्यम से आरक्षण विधेयक को रोक रही है, भाजपा कभी प्रदेश के लोगों का हित चाहती। न आदिवासी न किसान, न बच्चों, न महिलाओं न मजदूरों किसी का नहीं। १५ साल में हमने देखा है। सारे सार्वजनिक उपक्रम बेच रहे हैं, उन जगहों पर कर्मचारी की जरुरत पड़ती आरक्षण का लाभ मिलता, मगर सब प्राइवेट कर रहे हैं। भाजपा आरक्षण खत्म करने का खेल चला रही है।

मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने राजभवन के विधिक सलाहकार को भाजपा से जुड़ा बता दिया। अपने बयान में उन्होंने कहा-आरक्षण विधेयक विधानसभा में सभी दल के लोगों की सहमति से पास हुआ है, इससे बड़ा और क्या होगा, कोई दिक्कत कोर्ट आएगी तो हम लड़ने को तैयार हैं और कोर्ट की वजह से ही तो क्वांटिफायबल डाटा आयोग बनाया और उसके आधार पर आरक्षण लागू करने विधेयक आया। इसके बाद किसी को शक नहीं हो चाहिए, मगर विधिक सलाहकार को शक होने लगा, जो एकात्म परिसर भाजपा के कार्यालय में बैठता है, उसको विश्वास नहीं है, सवाल उठा रहे मतलब डीले करना चाह रहे हैं।