रायपुर। राजधानी के मास्टर प्लान में गड़बड़ी (Disturbances in the master plan of the capital) करने वालों को खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। जांच समिति का मानना है कि व्यवस्थित शहर के लिए प्लान में एक तिहाई तक बदलाव करना होगा। दरअसल, मास्टर प्लान में मिली शिकायतों के बाद मार्च में पहली बार जांच समिति बनी थी। उसने जांच में पाया कि शहर के बड़े हिस्से में नियमों के बाहर जाकर बदलाव किया गया है। मास्टर प्लान में गड़बड़ियों को लेकर वित्त मंत्री ओपी चौधरी (Finance Minister OP Chaudhary) ने जांच के निर्देश भी दिए हैं। मंत्री चौधरी ने कहा, मास्टर प्लान के संबंध में अनेक बार यह विषय विधानसभा में भी उठा था। लगातार अनेक शिकायती भी हुई थी। अभी मास्टर प्लान की जो भी गड़बड़ियां हुई है जो भी प्रक्रिया है गलतियां है गड़बड़ियां है, किसी के द्वारा गलत किया गया हो उसके लिए एक कमेटी आवास पर्यावरण विभाग के अंतर्गत उसके जांच का काम कर रही है। जो भी गलत हुए हैं उस पर उचित कार्रवाई की जाएगी। उसे ठीक करने का काम भी किया जाएगा।
पूर्व कांग्रेस शासन काल में राजधानी के लिए टाउन एंड कंट्री प्लानिंग रायपुर ने वर्ष 2031 के लिए जो मास्टर प्लान लागू किया है इनमें थोक में गड़बड़ियां पाई गई है। इसकी जानकारी प्रारंभिक रिपोर्ट में सामने आई है। इस रिपोर्ट के आधार पर शासन अब दोबारा दावा-आपत्तियां मंगाने की तैयारी में है। यह दावा-आपत्ति सिर्फ उन्हीं प्रकरणों के लिए मंगाई जाएंगी, जिनमें गड़बड़ी मिली है।
इसके अलावा कई जमीनों को आवासीय की जगह में तो कहीं कृषि भूमि को मिश्रित एवं व्यवसायिक क्षेत्र घोषित कर दिया गया है। इस पूरे मामले में पार्षद एवं MIC सदस्य सुंदर जोगी का कहना है कि सरकार मास्टर प्लान को लेकर जो भी निर्णय लाए मंजूर है। पार्षद एवं उपनेता प्रतिपक्ष मनोज वर्मा ने कहा, पिछले कई बार हम मास्टर प्लान में हुई गड़बड़ियों को लेकर नगर निगम की आमसभा में आवाज उठा चुके है, लेकिन कोई कार्यवाही नहीं हुई है।
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