चुटकी भर NUTMEG चटाने से आपके शिशु रहेंगे निरोग
By : hashtagu, Last Updated : September 15, 2024 | 6:09 pm
रोग प्रतिरोधक क्षमता कमजोर होने के कारण बच्चों को बीमारियां घेर लेती हैं। ऐसे में आप अपने बच्चों को एक चुटकी जायफल चटा कर उनकी प्रतिरोधक क्षमता(RESISTANCE CAPACITY) मजबूत बना सकते हैं। जायफल में डाइजेस्टिव एंजाइम्स होते हैं, जो शिशु के पाचन तंत्र को मजबूत बनाने में मदद करते हैं। यह पेट दर्द और गैस की समस्या को भी दूर करता है। साथ ही बच्चों की सर्दी-खांसी से राहत दिलाने में भी अहम भूमिका निभाता है। जायफल को सरसों के तेल में डुबोकर बच्चों की छाती पर लगाने से सर्दी-खांसी से राहत मिलती है। जायफल के तेल में मौजूद एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण बच्चों के लिए बहुत फायदेमंद होते हैं।
अक्सर बच्चों के दांत निकलने में देरी होती है। ऐसे समय में मिश्री में थोड़ा सा जायफल मिलाकर पीस लें और दूध या पानी में मिलाकर बच्चे को पिलाएं। यह प्रक्रिया बच्चे के दांत निकलने में मदद करती है। वहीं जायफल का तेल दांत निकलने के दौरान होने वाले दर्द को कम करने में मदद करता है। जायफल का तेल बच्चे की त्वचा की देखभाल में भी मदद करता है। यह उनकी त्वचा को मुलायम और चमकदार बनाता है।
जायफल में मौजूद औषधीय गुण मेटाबॉलिज्म को तेज करते हैं। अगर आप जायफल को पीसकर दूध में मिलाकर बच्चे को पिलाते हैं ,तो इससे पाचन क्रिया भी बेहतर होती है। यह बच्चों की भूख बढ़ाने में मदद करता है। इसके अलावा, जायफल का तेल शिशु की त्वचा की देखभाल में भी मदद करता है। यह उनकी त्वचा को नरम और चमकदार बनाता है।
स्वास्थ्य विशेषज्ञों का मानना है कि जायफल आपके बच्चे के लिए जितना फायदेमंद है, उतना ही हानिकारक भी है। जायफल का सेवन सीमित मात्रा में करें। बच्चे को जायफल की अधिक मात्रा न दें, इससे उन्हें नुकसान हो सकता है। अगर बच्चे को जायफल से एलर्जी है, तो उसे इसका सेवन न कराएं। जायफल के इस्तेमाल से पहले डॉक्टर से सलाह जरूर लें।