Apple ने भारतीय मूल के अमर सुब्रमण्य को कंपनी का नया वाइस प्रेसिडेंट ऑफ AI नियुक्त किया है। वे लंबे समय से AI रणनीति का नेतृत्व कर रहे जॉन जियानांद्रिया की जगह लेंगे। जियानांद्रिया अब सलाहकार की भूमिका निभाएंगे और अगले वसंत में रिटायर होंगे।
Apple ने कहा कि AI कंपनी की रणनीति का मुख्य हिस्सा है और सुब्रमण्य की नियुक्ति भविष्य की AI क्षमताओं को मजबूत करेगी। Apple के CEO टिम कुक ने भी उनका स्वागत करते हुए कहा कि उनकी AI और मशीन लर्निंग रिसर्च में गहरी पकड़ कंपनी के लिए महत्वपूर्ण होगी।
अमर सुब्रमण्य ने 2001 में बेंगलुरु विश्वविद्यालय से इलेक्ट्रिकल इलेक्ट्रॉनिक्स और कम्युनिकेशन इंजीनियरिंग में स्नातक किया। शुरुआती करियर IBM में सॉफ्टवेयर इंजीनियर के रूप में शुरू करने के बाद उन्होंने यूनिवर्सिटी ऑफ वॉशिंगटन से पीएचडी की।
इसके बाद वे Google में स्टाफ रिसर्च साइंटिस्ट बने और 16 साल के लंबे कार्यकाल में प्रिंसिपल इंजीनियर तथा 2019 में VP ऑफ इंजीनियरिंग बने। वे Google Gemini Assistant के इंजीनियरिंग हेड भी रहे। जुलाई 2025 में वे Microsoft में AI डिवीजन के कॉर्पोरेट वाइस प्रेसिडेंट के रूप में शामिल हुए थे।
अब वे Apple से जुड़कर सॉफ्टवेयर प्रमुख क्रेग फेडरिघी को रिपोर्ट करेंगे। वे फाउंडेशन मॉडल्स मशीन लर्निंग रिसर्च सर्च एंड नॉलेज और AI इंफ्रास्ट्रक्चर जैसे क्षेत्रों की जिम्मेदारी संभालेंगे।
जियानांद्रिया के नेतृत्व में Apple को जेनरेटिव AI अपनाने में प्रतिस्पर्धियों से पीछे रहने के लिए आलोचना का सामना करना पड़ा। Samsung जैसे ब्रांड ने अपने स्मार्टफोन्स में AI फीचर्स तेजी से जोड़े जबकि Apple Siri के बड़े अपग्रेड को 2026 तक टाल चुका है। रिपोर्टों के अनुसार CEO टिम कुक इस देरी से असंतुष्ट थे।
अमर सुब्रमण्य की नियुक्ति को Apple की AI रणनीति को नए सिरे से तेज करने की दिशा में बड़ा कदम माना जा रहा है।