11 साल बाद नवंबर में कड़ाके की ठंड, सरगुजा संभाग में शीतलहर की चेतावनी

सरगुजा संभाग में ठंड का असर सबसे ज्यादा है। सरगुजा जिले में न्यूनतम तापमान 8.6 डिग्री, बलरामपुर में 9.7 डिग्री, कोरिया में 12.8 डिग्री, सूरजपुर में 11.1 डिग्री और जशपुर में 12.1 डिग्री रिकॉर्ड किया गया।

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  • Publish Date - November 21, 2024 / 12:31 PM IST

छत्तीसगढ़ के सरगुजा संभाग (Sarguja division) में इस बार नवंबर में 11 साल बाद कड़ाके की ठंड पड़ रही है। सरगुजा, बलरामपुर, सूरजपुर सहित संभाग के सभी 6 जिलों में अगले चार दिनों तक शीतलहर का अलर्ट जारी किया गया है। आमतौर पर दिसंबर के पहले सप्ताह में शीतलहर जैसी स्थितियां बनती हैं, लेकिन इस बार सर्द हवाएं जल्दी आ गई हैं, जिसके कारण नवंबर में ही पारा गिरने लगा है। बुधवार को मैनपाट में 6.2 डिग्री तापमान के साथ सबसे ठंडा दिन दर्ज किया गया।

दुर्ग संभाग में भी ठंड का असर देखने को मिला। यहां रात का तापमान 15 डिग्री से नीचे बना हुआ है। दुर्ग में बुधवार रात का पारा 13.4 डिग्री रिकॉर्ड किया गया, जो सामान्य से 4 डिग्री कम था। रायपुर में मौसम साफ रहने की संभावना है, जहां अधिकतम और न्यूनतम तापमान 29°C और 15°C के आसपास रहने की उम्मीद है। बुधवार को रायपुर का न्यूनतम तापमान 16.2 डिग्री और अधिकतम तापमान 29.2 डिग्री रहा, जो सामान्य से कम था।

सरगुजा संभाग में ठंड सबसे अधिक
सरगुजा संभाग में ठंड का असर सबसे ज्यादा है। सरगुजा जिले में न्यूनतम तापमान 8.6 डिग्री, बलरामपुर में 9.7 डिग्री, कोरिया में 12.8 डिग्री, सूरजपुर में 11.1 डिग्री और जशपुर में 12.1 डिग्री रिकॉर्ड किया गया।

बस्तर संभाग में भी बढ़ी ठंड
बस्तर संभाग में भी ठंड बढ़ती जा रही है। बस्तर में 13.6 डिग्री, सुकमा में 15.4 डिग्री, दंतेवाड़ा में 12.9 डिग्री, बीजापुर में 14.5 डिग्री, नारायणपुर में 10.7 डिग्री और कांकेर में 17 डिग्री तक न्यूनतम तापमान दर्ज किया गया।

बिलासपुर में रात का तापमान
बिलासपुर में रात का तापमान 15.4 डिग्री रिकॉर्ड किया गया, जो सामान्य से 1.2 डिग्री कम था। कोरबा में 13.7 डिग्री, गौरेला-पेंड्रा-मरवाही में 11.8 डिग्री और मुंगेली में 13.3 डिग्री न्यूनतम तापमान था।

अस्पतालों में बढ़े मरीज
सरगुजा संभाग में लगातार पड़ रही ठंड से स्वास्थ्य पर असर पड़ा है। सुबह स्कूल जाने वाले बच्चे ठिठुरते हुए स्कूल पहुंच रहे हैं, जिससे वे बीमार भी हो रहे हैं। अस्पतालों में सर्दी, बुखार और वायरल जैसी बीमारियों के मरीज बढ़ गए हैं।

शीतलहर का असर जारी रहेगा
मौसम वैज्ञानिक एएम भट्ट के अनुसार, समुद्रीय हवाओं के साथ आ रही नमी के कारण शीतलहर जैसी स्थितियां बन रही हैं, जिससे कड़ाके की ठंड पड़ रही है। फिलहाल राहत की उम्मीद नहीं है और सर्द हवाओं का सिलसिला जारी रहेगा। पाट और मैदानी इलाकों में ठंड बढ़ती रहेगी।