कमाल कर रही गोधन न्याय योजना, महिलाओं के लिए खोले तरक्की के रास्ते

एक उस समय का छत्तीसगढ़ था, जब आदिवासी जनजीवन में आर्थिक संसाधनों की शून्यता के चलते गरीबी का दंश फैला था लेकिन अब इनके लिए ाआर्थिक रूप से मजबूत रहने के लिए कई योजनाएं यहां संचालित हो रही है।

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  • Publish Date - October 28, 2022 / 04:21 PM IST

छत्तीसगढ़/रायपुर। एक उस समय का छत्तीसगढ़ था, जब आदिवासी जनजीवन में आर्थिक संसाधनों की शून्यता के चलते गरीबी का दंश फैला था लेकिन अब इनके लिए ाआर्थिक रूप से मजबूत रहने के लिए कई योजनाएं यहां संचालित हो रही है। इसके चलते यहां के सामाजिक रूप से कई तरह की विषमताएं अब खत्म होने लगी है। दूसरे प्रदेशों में काम करने के लिए मजबूर नहीं है। इन्हीं योजनाओं में गोधन न्याय योजना भी है। इसके शुरूआत करने का उद्देश्य पशुपालकों की आर्थिक स्थिति में सुधार करना है। इस योजना के तहत शासन द्वारा गौपालक किसानों से गोबर खरीद कर खरीदे गए गोबर से वर्मी कम्पोस्ट बनाने का काम किया जा रहा है। जिसे वन विभाग, उद्यानिकीव कृषि विभाग और किसानों को बेचा जा रहा है।

दंतेवाड़ा के गौठानों में गौ पालकों की आर्थिक िस्थति मजबूत हुई

छत्तीसगढ़ शासन की महत्वाकांक्षी योजना गोधन न्याय योजना के तहत दंतेवाड़ा ब्लॉक के गौठानों में आजीविका संवर्धन और गौपालक किसानों को आर्थिक सहायता प्राप्त करने के उद्देश्य से विभिन्न ग्राम पंचायतों में गौठानवचारागाह का निर्माण किया गया है। यह योजना ग्रामीणों के लिए आमदनी का बेहतर स्रोत बन कर उभरा है। जिसके कारण ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूती मिल रही है। जनपद पंचायत दंतेवाड़ा अंतर्गत ग्राम पंचायत बालपेट के आश्रित ग्राम भैरमबंदगौठान में केंचुआ खाद व सुपर कम्पोस्ट खाद का निर्माण किया जा रहा है जो की आज की स्थिति में उत्पादकवविक्रय का केन्द्र बना है।

इतनी मात्र हुई गोबर की खरीदी

अब तक इस केंद्र के कुल गोबर खरीदी २२१६५७६.०७ किग्रा. जिसका मूल्य ४४३३१५२.१४ रू० गोबर विक्रेता हितग्राहियों को प्रदान किया जा चुका है। भैरमबंद गौठान में प्राप्त गोबर से केंचुआ खाद कुल मात्रा २१९४२५ किलोग्राम को राशि २१,८९,२३० रुपये व सुपर कम्पोस्ट कुल मात्रा २०,००० किलोग्राम को १,२०,००० रू० में बेचा गया है। इस गौठान में वर्तमान में कुल १५-२० समूह की दीदियां कार्यरत है। दीदियों द्वारा गोबर खरीदी कर खाद निर्मित कर रही हैं। उपलब्ध गोबर से महिला समूह द्वारा जैविक खाद्य बनाकर इसका विक्रय से लाभ अर्जित कर रहीं है। साथ-साथ सब्जी उत्पादन जैसे अन्य गतिविधियां भी की जा रही हैं। गौठान में गोबर खरीदी से अनेक प्रकार के रोजगार सृजन हुए है। इससे जहां एक ओर मृदा स्वास्थ्य में सुधार हो रहा है वहीं गुणवत्ता युक्त फसल उत्पादन को बढ़ावा मिल रहा है।