रायपुर एयरपोर्ट पर बिजली गिरने से नेविगेशन फेल, 10 फ्लाइट्स पर असर, यात्रियों का हंगामा

By : dineshakula, Last Updated : September 11, 2025 | 2:16 pm

रायपुर : तेज बारिश और आंधी के साथ आई बिजली ने बुधवार को रायपुर एयरपोर्ट की व्यवस्थाएं बिगाड़ दीं। एयर ट्रैफिक कंट्रोल के नेविगेशन सिस्टम में खराबी आने से राजधानी में हवाई सेवाएं बुरी तरह प्रभावित हो गईं। दिल्ली से रायपुर आ रही इंडिगो की फ्लाइट को मजबूरी में भोपाल डायवर्ट किया गया, जहां करीब 170 यात्रियों को घंटों फंसे रहना पड़ा।

बताया जा रहा है कि इंडिगो की फ्लाइट नंबर 6E 5138 बुधवार शाम दिल्ली से रवाना हुई थी और उसे रात 8:55 बजे रायपुर लैंड करना था, लेकिन अचानक मौसम बिगड़ा और विजिबिलिटी गिर गई। उसी दौरान एयरपोर्ट के नेविगेशन सिस्टम पर आकाशीय बिजली गिर गई, जिससे तकनीकी गड़बड़ी हो गई।

कैप्टन संजय चौधरी ने तय किया कि विमान को भोपाल में उतारा जाए। रात 9:15 बजे विमान भोपाल पहुंचा और वहां रुककर ईंधन भरवाया गया। विमान में दुर्ग से बीजेपी सांसद विजय बघेल और वरिष्ठ IAS अधिकारी सोनमणी बोरा भी मौजूद थे।

लेकिन असली बवाल तब हुआ जब भोपाल से विमान दिल्ली लौट गया और वहां यात्रियों को बताया गया कि उन्हें अब उसी रात रायपुर नहीं भेजा जाएगा। इससे नाराज यात्रियों ने देर रात दिल्ली एयरपोर्ट पर जमकर हंगामा किया। आरोप लगाया गया कि इंडिगो की तरफ से कोई अधिकारी सामने नहीं आया और यात्रियों को घंटों जानकारी के बिना इंतजार करना पड़ा।

करीब 1 घंटे की बहस और नाराजगी के बाद एयरलाइन ने यात्रियों को दिल्ली के दो रिसॉर्ट्स में रुकवाया और अगले दिन की फ्लाइट से रायपुर भेजने का आश्वासन दिया। अब इन्हीं यात्रियों को फ्लाइट नंबर 6E 9056 से गुरुवार दोपहर 12:40 बजे रायपुर भेजा गया है।

तेज मौसम के चलते हुई इस घटना से रायपुर एयरपोर्ट पर कुल 10 फ्लाइट्स प्रभावित हुईं, जिनमें से 4 को रद्द कर दिया गया और 6 को डायवर्ट किया गया। इनमें दिल्ली, कोलकाता, बेंगलुरु और इंदौर से जुड़ी उड़ानें शामिल थीं।

नेविगेशन सिस्टम क्या होता है और क्यों जरूरी है?

हवाई जहाजों की सुरक्षित उड़ान और लैंडिंग के लिए GPS और ग्राउंड-बेस्ड ऑग्मेंटेशन जैसे सिस्टम का इस्तेमाल होता है। ये सिस्टम सटीक दिशा, ऊंचाई और गति की जानकारी प्रदान करते हैं। लैंडिंग के दौरान थोड़ी भी तकनीकी गड़बड़ी या सिग्नल बाधा विमान की सुरक्षा के लिए खतरा बन सकती है।

फिलहाल मौसम में सुधार के बाद एयरपोर्ट का संचालन धीरे-धीरे सामान्य हो रहा है, लेकिन यह घटना यात्रियों के लिए एक यादगार मुसीबत बन गई।