छत्तीसगढ़ के बलरामपुर में बाघ की खबर से ग्रामीणों में दहशत
By : hashtagu, Last Updated : November 11, 2024 | 2:25 pm
बाघ की सूचना के बाद इलाके में वन विभाग की कई टीमें सक्रिय थीं। वन विभाग के लोग लगातार बाघ का पता लगाने के लिए फुटप्रिंट की स्क्रीनिंग कर रहे थे। बाघ के फुटप्रिंट और तमाम घटनाओं से इलाके में बाघ होने की पुष्टि हो गई है।
बताया जा रहा है कि वन विभाग ने लोगों से जंगल की तरफ न जाने के लिए बाकायदा मुनादी भी कराई गई थी। लोग बाघ के खौफ की वजह से घरों में ही रह रहे हैं।
स्थानीय निवासी रामअवतार ने इसकी जानकारी देते हुए बताया, “हम लोगों को शनिवार को पता चला कि बाघ हमारे गांव की तरफ आया है। मेरा बैल अक्सर भाग जाता था। इसलिए हम लोग उसे ढूंढने नहीं गए। इसके अलावा हम लोग फसल की भी कटाई कर रहे थे। इसी वजह से नहीं जा पाए। हमने यही सोचा कि बाघ ने अगर बैल पर हमला भी कर दिया होगा तो हम लोगों के जाने पर वह हम पर भी हमला कर देगा। इसलिए हम लोग रात में बैल को खोजने नहीं गए। जब अगले दिन गांव के लोग उस तरफ गए तो वहां पता चला कि बाघ ने मेरे बैल का सिर काट दिया था।”
देवराज सिंह खेरवार ने बताया कि 8 नवंबर की शाम 3 से 4 बजे के बीच मेरा बैल घास चरने के लिए जंगल की तरफ गया था। उसी समय बाघ ने उस पर हमला कर दिया। बड़ी मुश्किल से वह बचा है।