नई दिल्ली, 31 जनवरी (आईएएनएस)| (Lieutenant Governor of Delhi) दिल्ली के उपराज्यपाल वी.के. सक्सेना ने दिल्ली पुलिस के फैसले को पलटा और सेवा के दौरान शहीद हुए पुलिसकर्मियों के आश्रितों को अनुकंपा नियुक्तियों (compassionate appointments) में लालफीताशाही और प्रतिबंधात्मक प्रथाओं को खत्म करते हुए ऐसे तीन लाभार्थियों की नियुक्ति को मंजूरी दे दी है।
अनुकंपा आधार पर तीन लाभार्थियों की नियुक्ति के लिए आए आवेदनों को दिल्ली पुलिस ने आयु अधिक होने के आधार पर खारिज कर दिया था। आवेदकों में कांस्टेबल (ड्राइवर) के पद के लिए राकेश कुमार, कांस्टेबल (ड्राइवर) के पद के लिए अजय कुमार और कांस्टेबल (कार्यकारी) के पद के लिए जितेंद्र भदौरिया शामिल हैं।
एलजी ने दिल्ली पुलिस (नियुक्ति और भर्ती) नियम, 1980 के नियम 30 के तहत शक्ति का प्रयोग करते हुए निर्धारित आयु मानदंड में छूट दी है और सभी लाभार्थियों को नियुक्ति पत्र जारी करने का निर्देश दिया है। इन तीन आवेदकों में से राकेश कुमार और अजय कुमार ने एलजी से पांच-पांच महीने की छूट की मांग की थी, जबकि अन्य लाभार्थी जितेंद्र भदौरिया ने छह महीने की छूट मांगी थी।
एलजी सक्सेना ने आयु में छूट देते हुए रेखांकित किया कि मृतक पुलिसकर्मियों ने अपने पीछे विधवाओं, वृद्ध माता-पिता, छोटे बच्चों और अविवाहित बेटियों को छोड़ दिया है और यह महत्वपूर्ण और प्राकृतिक न्याय के हित में था कि परिवार की वित्तीय स्थिति सहित ऐसे कारकों को ध्यान में रखा जाए। एलजी सचिवालय ने कहा कि अनुकंपा नियुक्ति के मामले तय करते समय इन चीजों पर विचार किया जाता है।
एलजी ने यह भी कहा कि अनुकंपा के आधार पर नियुक्ति के लिए बड़ी संख्या में आरक्षित पद खाली पड़े हैं। उन्हें बताया गया कि कांस्टेबल (कार्यकारी) के 115 पद और कांस्टेबल (ड्राइवर) के 28 पद रिक्त हैं। उपराज्यपाल ने फिलहाल इन तीन नियुक्तियों की अनुमति दी है।