जमशेदपुर में अमित शाह के रोड शो में उमड़ी भीड़, बोले- ‘जनता का उत्साह बता रहा कि भाजपा आने वाली है’

केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने शनिवार को झारखंड की औद्योगिक नगरी जमशेदपुर में एनडीए प्रत्याशियों के साथ रोड शो किया। इस दौरान भारी भीड़

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  • Updated On - November 9, 2024 / 08:47 PM IST

जमशेदपुर, 9 नवंबर (आईएएनएस)। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह (Union Home Minister Amit Shah)ने शनिवार को झारखंड की औद्योगिक नगरी जमशेदपुर में एनडीए प्रत्याशियों के साथ रोड शो(Road show with NDA candidates in Jamshedpur) किया। इस दौरान भारी भीड़ उमड़ पड़ी। लोग “जय श्रीराम”, “भारतीय जनता पार्टी जिंदाबाद”, “नरेंद्र मोदी जिंदाबाद”, “अमित शाह जिंदाबाद” जैसे नारे लगाते रहे।

अमित शाह एक खुले वाहन में जमशेदपुर पूर्वी विधानसभा की भाजपा प्रत्याशी पूर्णिमा दास साहू और जमशेदपुर पश्चिमी के जदयू प्रत्याशी सरयू राय सहित कुछ अन्य भाजपा नेताओं के साथ सवार थे। सड़कों के दोनों किनारों पर हजारों लोग उनकी झलक पाने को खड़े रहे।

अमित शाह ने कभी हाथ हिलाकर तो कभी हाथ जोड़कर लोगों का अभिवादन किया। उन्होंने रोड शो का वीडियो सोशल मीडिया ‘एक्स’ पर शेयर करते हुए लिखा, “जमशेदपुर रोड शो में जनता का स्नेह और उत्साह बता रहा है कि झारखंड में भाजपा आने वाली है।”

शहर के जुबली पार्क गेट से शुरू होकर यह रोड शो बाराद्वारी गोलचक्कर तक गया। रोड शो में महिलाओं की भारी भागीदारी देखी गई। हजारों लोग वाहन के आगे भाजपा का झंडा, नरेंद्र मोदी, अमित शाह और भाजपा प्रत्याशी के कटआउट लेकर नारे लगाते चलते रहे। भाजपा प्रत्याशी के हाथ में भाजपा के चुनाव चिह्न कमल का छोटा कटआउट था, जिसे दिखाकर उन्होंने पार्टी के पक्ष में मतदान की मौन अपील की।

शाह ने इसके पहले पलामू के छतरपुर, हजारीबाग और कोल्हान प्रमंडल की विधानसभा सीटों पर चुनावी सभाओं को संबोधित करते हुए दावा किया कि इस बार राज्य में भाजपा की डबल इंजन सरकार बननी तय है। उन्होंने कहा कि केंद्र में जब यूपीए की सरकार थी तो उन्होंने 10 साल में झारखंड को सिर्फ 84 हजार करोड़ रुपये दिए, जबकि मोदी सरकार ने तीन लाख 90 हजार करोड़ रुपये झारखंड को विकास के लिए दिए। उन्होंने पूछा कि झारखंड के लिए “हमने जो पैसा दिया, वह आखिर कहां गया? यह रकम कांग्रेस और झामुमो की सरकार खा गई। राज्य में भाजपा की सरकार बनते ही हम पाई-पाई का हिसाब लेंगे”।

अमित शाह ने कांग्रेस को ओबीसी का घोर विरोधी करार दिया। उन्होंने कहा कि कांग्रेस जब-जब शासन में आई, उसने ओबीसी के साथ अन्याय किया। पिछड़ों को हक देने के लिए काका साहेब कालेलकर कमीशन 1950 में बना था। इसकी रिपोर्ट ही गायब कर दी गई। मंडल कमीशन बना और उसकी रिपोर्ट आई तो इंदिरा गांधी और राजीव गांधी ने विरोध किया। पिछड़ों को 27 प्रतिशत आरक्षण का हक मिलने में वर्षों लग गए। दूसरी तरफ 2014 में नरेंद्र मोदी की सरकार केंद्र में बनी तो सभी परीक्षाओं और नौकरियों में पिछड़ों को 27 प्रतिशत आरक्षण दिया गया। हमारी सरकार ने पिछड़ा वर्ग आयोग बनाया और उसे संवैधानिक दर्जा दिया।

केंद्रीय गृह मंत्री ने कहा कि कांग्रेस आरक्षण और संविधान की बात करती है, लेकिन इससे सबसे ज्यादा खिलवाड़ वही करती है। संविधान में धर्म के आधार पर आरक्षण की कोई व्यवस्था नहीं है, लेकिन कांग्रेस ने महाराष्ट्र में उलेमाओं के प्रतिनिधिमंडल को आश्वस्त किया है कि मुसलमानों को 10 प्रतिशत आरक्षण दिलाने में मदद करेगी। उन्होंने कहा, “कांग्रेस दलितों, पिछड़ों और आदिवासियों का हिस्सा काटकर मुसलमानों को आरक्षण देना चाहती है। लेकिन जब तक भारतीय जनता पार्टी है, यह नहीं होने दिया जाएगा।”

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