क्वाड शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेने अमेरिका दौरे पर रवाना हुए पीएम मोदी

पीएम मोदी ने आगे कहा, "मैं क्वाड शिखर सम्मेलन में अपने सहयोगियों राष्ट्रपति जो बाइडेन, ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री अल्बानीज और जापान के प्रधानमंत्री फुमियो किशिदा के साथ शामिल होने के लिए उत्सुक हूं।

  • Written By:
  • Publish Date - September 21, 2024 / 11:30 AM IST

नई दिल्ली, 21 सितंबर (आईएएनएस) प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) शनिवार को अमेरिका की तीन दिवसीय यात्रा पर रवाना हो गए हैं। अमेरिका में पीएम मोदी क्वाड शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेंगे और संयुक्त राष्ट्र के ‘भविष्य के शिखर सम्मेलन’ को संबोधित करेंगे। इसके अलावा, प्रधानमंत्री एक सामुदायिक कार्यक्रम में भी हिस्सा लेंगे और वहां भारतीय प्रवासियों से बातचीत करेंगे।

प्रधानमंत्री मोदी ने शनिवार को इस यात्रा से पहले कहा, ‘आज, मैं अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन द्वारा उनके गृहनगर विलमिंगटन में आयोजित किए जा रहे क्वाड शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेने और न्यूयॉर्क में संयुक्त राष्ट्र महासभा (यूएनजीए) में भविष्य के शिखर सम्मेलन को संबोधित करने के लिए अमेरिका की तीन दिवसीय यात्रा पर जा रहा हूं।”

पीएम मोदी ने आगे कहा, “मैं क्वाड शिखर सम्मेलन में अपने सहयोगियों राष्ट्रपति जो बाइडेन, ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री अल्बानीज और जापान के प्रधानमंत्री फुमियो किशिदा के साथ शामिल होने के लिए उत्सुक हूं। यह मंच हिंद-प्रशांत क्षेत्र में शांति, प्रगति और समृद्धि के लिए काम करने वाले समान विचारधारा वाले देशों के एक प्रमुख समूह के रूप में उभरा है।”

पीएम मोदी ने आगे कहा कि राष्ट्रपति जो बाइडेन के साथ उनकी बैठक ‘हमें अपने लोगों और वैश्विक भलाई के लाभ के लिए भारत-अमेरिका व्यापक वैश्विक रणनीतिक साझेदारी को और गहरा करने के लिए नए रास्तों की समीक्षा करने और उनकी पहचान करने की अनुमति देगी’।

प्रधानमंत्री ने कहा है कि वह भारतीय प्रवासी समुदाय और अमेरिकी महत्वपूर्ण व्यावसायिक नेताओं से बातचीत करेंगे। उनका कहना है कि यह यात्रा दुनिया की सबसे बड़ी और सबसे पुरानी लोकतंत्रों (भारत और अमेरिका) के बीच संबंधों को मजबूत करने में मदद करेगी।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ‘भविष्य के शिखर सम्मेलन’ को वैश्विक समुदाय के लिए मानवता की बेहतरी के लिए आगे का रास्ता तय करने का अवसर बताते हुए कहा, “मैं मानवता के छठे हिस्से के विचारों को साझा करूंगा क्योंकि शांतिपूर्ण और सुरक्षित भविष्य में उनकी हिस्सेदारी दुनिया में सबसे अधिक है।”