जुबानी जंग : अजय चंद्राकर और भूपेश में ठनी ! एक-दूसरे पर छोड़े तीखे सियासी बाण

राजधानी रायपुर में कांग्रेस के मुख्यमंत्री निवास घेराव प्रदर्शन को लेकर भाजपा और कांग्रेस के बीच जुबानी जंग तेज हो गई है। भाजपा के वरिष्ठ

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  • Updated On - April 21, 2025 / 02:53 PM IST

रायपुर। राजधानी रायपुर में कांग्रेस के मुख्यमंत्री निवास घेराव प्रदर्शन को लेकर भाजपा और कांग्रेस के बीच जुबानी जंग तेज हो गई है। भाजपा के वरिष्ठ विधायक अजय चंद्राकर (MLA Ajay Chandrakar) ने जहां कांग्रेस के प्रदर्शन को “ज़िंदा रहने की कोशिश” बताया, वहीं पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (Former Chief Minister Bhupesh Baghel) ने चंद्राकर को “दूध में पड़ी मक्खी” करार दिया।

अजय चंद्राकर ने कांग्रेस के प्रदर्शन को महज एक ‘राजनीतिक नौटंकी’ करार देते हुए कहा, “कांग्रेस को ज़िंदा रहना और ज़िंदा दिखना भी है, इसके लिए ये सब उपक्रम हैं। मेरी सहानुभूति कांग्रेस की कोशिशों के साथ है। विपक्ष की भूमिका निभाते रहें।”

उन्होंने प्रदर्शन में कांग्रेस के प्रमुख नेताओं की गैरहाज़िरी पर भी सवाल उठाया और पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के भुवनेश्वर दौरे का ज़िक्र करते हुए कहा, “जिन्हें आप बड़े नेता मानते हैं, वो हैं ही नहीं। परिवारवादी पार्टियों में मुखिया ही नेता होते हैं, जननेता कोई नहीं।”

संविधान बचाओ अभियान पर चंद्राकर ने कांग्रेस से पूछा, “अपने कार्यकाल में कितनी बार संविधान में संशोधन किया? आपातकाल किसने लगाया? मानव अधिकारों को सस्पेंड किसने किया? अंबेडकर जी के प्रति अचानक उमड़ा प्रेम क्यों?” जन जागरण अभियान और वक्फ बोर्ड संशोधन पर उन्होंने कांग्रेस पर कटाक्ष करते हुए कहा, “जब भी देश में कोई नवाचार होता है, कुछ लोग ‘भेड़िया आया भेड़िया’ चिल्लाने लगते हैं। कांग्रेस का एजेंडा राहुल गांधी को प्रधानमंत्री बनाना है, जबकि नरेंद्र मोदी का लक्ष्य है विकसित भारत।”

भूपेश बघेल का तीखा पलटवार: कहा- “दूध में पड़ी मक्खी हो गए हैं अजय चंद्राकर”

पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने अजय चंद्राकर के बयानों पर तीखी प्रतिक्रिया देते हुए कहा, “अजय चंद्राकर पार्टी में दूध में पड़ी मक्खी की तरह हो गए हैं। मंत्रिमंडल विस्तार की आस लगाए बैठे थे, लेकिन पार्टी ने उन्हें साइडलाइन कर दिया है। पहले अपने आसपास देख लें, फिर कांग्रेस पर टिप्पणी करें।”

CM साय को आदिवासियों को ‘सबसे बड़ा हिंदू’ बताए जाने पर घेरा

सीएम विष्णु देवसाय द्वारा आदिवासियों को ‘सबसे बड़ा हिंदू’ बताए जाने पर भूपेश बघेल ने उन्हें संविधान पढ़ने की नसीहत दी। पूर्व सीएम ने कहा “आदिवासी को हिंदू बताने से उनका आरक्षण खत्म हो जाएगा। ये उनकी पहचान और अधिकारों पर सीधा हमला है। मुख्यमंत्री को ऐसे गैरजिम्मेदार बयान नहीं देने चाहिए।”

उपराष्ट्रपति के बयान पर भी उठाए सवाल

बता दें कि उपराष्ट्रपति धनखड़ ने न्यायपालिका की ओर से राष्ट्रपति के निर्णय लेने के लिए समयसीमा निर्धारित करने और ‘सुपर संसद’ के रूप में कार्य करने को लेकर सवाल उठाए थे। उन्होंने गुरुवार को कहा था कि सुप्रीम कोर्ट लोकतांत्रिक ताकतों पर ‘परमाणु मिसाइल’ नहीं दाग सकता।

उपराष्ट्रपति की इस टिप्पणी को लेकर पूर्व CM बघेल ने कहा, “सुप्रीम कोर्ट का फैसला विधायिका की गरिमा को बढ़ाता है। राज्य में कई बिल राज्यपाल के पास लंबित हैं। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बावजूद राज्यपाल उन्हें मंजूरी नहीं दे रहे। फिर उपराष्ट्रपति को इस पर आपत्ति क्यों हो रही है?”

कांग्रेस जनता के पक्ष में कर रही प्रदर्शन

कांग्रेस के मुख्यमंत्री निवास घेराव प्रदर्शन को बघेल ने जनहित में जरूरी बताया। “प्रदेश में कानून-व्यवस्था की स्थिति बेहद खराब है। भाजपा के खुद के नेता पत्र लिखकर सुरक्षा बढ़ाने की मांग कर रहे हैं। सरकार खुद मान रही है कि हालात उनके कंट्रोल में नहीं हैं। इसलिए कांग्रेस जनता के पक्ष में यह प्रदर्शन कर रही है।”