ब्रिटेन की बर्खास्त गृह सचिव बोलीं, ‘समय आने पर मुझे और भी बहुत कुछ कहना है’

By : hashtagu, Last Updated : November 13, 2023 | 11:16 pm

लंदन, 13 नवंबर (आईएएनएस)। ब्रिटिश गृह सचिव (UK Home Secretary) के पद से बर्खास्त किए जाने के बाद सुएला ब्रेवरमैन ने अपनी चुप्पी तोड़ते हुए कहा कि शीर्ष पद पर सेवा करना उनका “सबसे बड़ा सौभाग्य” रहा है और “समय आने पर उनके पास कहने के लिए और भी बहुत कुछ होगा।”

देश में चल रहीं फिलिस्तीन समर्थक रैलियों के बीच पुलिस की तीखी आलोचना करने पर प्रधानमंत्री ऋषि सुनक ने भारतीय मूल की मंत्री को सोमवार को बर्खास्त कर दिया। सुएला ने कहा था कि विरोध प्रदर्शनों की पुलिसिंग करते समय अधिकारी “पसंदीदा लोगों की तरफदारी करते हैं”।

सुएला ने कहा, “गृह सचिव के रूप में सेवा करना मेरे जीवन का सबसे बड़ा सौभाग्य रहा है। आने वाले समय में मुझे और भी बहुत कुछ कहना है।”

सुएला की बर्खास्तगी की घोषणा डाउनिंग स्ट्रीट द्वारा एक बड़े फेरबदल के हिस्से के रूप में की गई। पूर्व विदेश सचिव जेम्स क्लेवरली उनकी जगह लेंगे।

कट्टरपंथी रूढ़िवादी सुएला ब्रेवरमैन अक्सर विवादों में रही हैं। प्रवासन, प्रदर्शनकारियों, बेघर लोगों और पुलिस पर उनकी टिप्पणियों के लिए उनके सहयोगियों के साथ-साथ विपक्षी पार्टी के सदस्यों ने भी उनकी आलोचना की है।

फिलिस्तीन समर्थक प्रदर्शनकारियों को “घृणा मार्च करने वाले” और उनके आयोजकों को “आतंकवादी संगठनों से संबंध रखने वाले” कहने से पहले, उन्होंने यह दावा किया कि जो लोग सड़कों पर सो रहे हैं, वे केवल इसलिए ऐसा कर रहे हैं, क्योंकि यह उनकी “जीवनशैली” है।

उन्‍होंने अप्रैल में कहा था कि सभी ब्रिटिश-पाकिस्तानी, ऐसे गिरोहों का हिस्सा हैं, जो “कमजोर अंग्रेज लड़कियों का पीछा करते हैं, उन्हें नशीली दवाएं देते हैं, बलात्कार करते हैं और उन्हें नुकसान पहुंचाते हैं।”

पिछले साल अक्टूबर में पूर्व प्रधानमंत्री लिज़ ट्रस की सरकार के हिस्से के रूप में सुएला ने कहा था कि क्रिसमस से पहले शरण चाहने वालों के एक विमान को रवांडा के लिए उड़ान भरते देखना उनका “सपना” है।

पिछले महीने इजरायल-हमास युद्ध शुरू होने के बाद लंदन में 11 नवंबर को सबसे बड़ा फिलिस्तीन समर्थक मार्च देखा गया, जिसमें प्रदर्शनकारियों ने राजधानी के हाइड पार्क में मार्बल आर्क से वॉक्सहॉल ब्रिज रोड तक मार्च किया।

द गार्जियन के मुताबिक, धुर दक्षिणपंथी प्रति-प्रदर्शनकारियों और पुलिस के बीच झड़पें हुईं और विपक्षी लेबर ने आरोप लगाया कि वे सुएला के बयानों पर भड़के थे।