संदीप पौराणिक
रायपुर| छत्तीसगढ़ की भूपेश बघेल (Bhupesh Baghel) के नेतृत्व वाली कांग्रेस की सरकार के सामने अंदर और बाहर चुनौतियों की भरमार है। चुनावी साल में यह चुनौतियां बड़ी मुसीबत का कारण भी बन सकती हैं। राज्य में कांग्रेस विधायकों की संख्या बल के आधार पर मजबूत है और भाजपा उसके सामने किसी भी तरह की चुनौती देने की स्थिति में नहीं है। इसके बावजूद केंद्रीय जांच एजेंसियों की कार्यवाही और पार्टी के अंदर की गाहे-बगाहे सामने आने वाली खींचतान मुसीबत का अंदेशा तो करा ही जाती है।
राज्य में पहले हुई प्रवर्तन निदेशालय की कार्रवाई में राज्य के कई प्रशासनिक अधिकारियों को जेल तक जाना पड़ा है और उनके पास मिली संपत्ति कई सवाल खड़े करती है। इसके अलावा कोयला कारोबार में भी गिरफ्तारियां हुई और अब शराब घोटाले का मामला सामने आया है, जिसने एक नई बहस को जन्म तो दे ही दिया है। इन मामलों में सीधे तौर पर कांग्रेस की सरकार और पार्टी के बड़े नेताओं के जुड़े होने की बात सामने नहीं आई मगर रायपुर के महापौर एजाज ढेबर के भाई को जरूर शराब घोटाले में ईडी ने दबोचा है।
एक तरफ जहां केंद्रीय जांच एजेंसी की कार्यवाही से सरकार से जुड़े लोगों पर भ्रष्टाचार के आरोपों की आंच आई है तो दूसरी ओर नक्सली गतिविधियां भी बढ़ी है। इतना ही नहीं पार्टी के अंदर भी असंतोष के स्वर बीच-बीच में सुनाई देने लगते हैं। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (Bhupesh Baghel) और मंत्री टी एस सिंह देव के रिश्ते मधुर न होने की बात सामने भी आती रहती है तो वही संगठन में भी सब कुछ ठीक-ठाक न होने की बातें चर्चाओं में है।
भाजपा तो कांग्रेस की सरकार को घोटालों की सरकार करार देती है। सांसद सुनील सोनी का कहना है कि छत्तीसगढ़ में कांग्रेस सरकार द्वारा पिछले साढ़े चार वर्ष में किए गए तमाम घोटालों से छत्तीसगढ़ शर्मिंदा है ही, लेकिन इनमें से कुछ घोटाले तो ऐसे हैं जो मानवता के विरुद्ध अपराध की श्रेणी में आते हैं। शराब घोटाले का एक अंश दो हजार करोड़ का घोटाला तो अब साक्ष्यों के साथ समाने आ गया है।
ईडी ने कोयला आदि घोटाले में भी सैकड़ों करोड़ की राशि अभी तक जब्त भी की है, लेकिन भूपेश बघेल द्वारा किए पांच हजार करोड़ के चावल घोटाले तो मानवता को शर्मिंदा कर रहे हैं। इसमें 68 हजार टन चावल का घोटाला तो सदन में भी स्वीकार किया है कांग्रेस ने। कांग्रेस के प्रवक्ता धनन्जय सिंह ठाकुर का कहना है कि राज्य की सरकार के सामने भाजपा कोई चुनौती नहीं है। ऐसा इसलिए क्योंकि भाजपा के पास कोई मुददे नहीं है, हां वे सिर्फ झूठे और मनगढंत आरोप लगाकर सरकार की छवि को धूमिल करना चाहते हैं।
जहां तक ईडी की कार्रवाई की बात है तो ईडी सिर्फ उन राज्यों में सक्रिय होती है जहां भाजपा की विरोधी सरकार है। अब तक जितनी भी कार्रवाई हुई है उनमें से एक में भी अब तक ईडी कोई भी दस्तावेज पेश नहीं कर पाई है।(आईएएनएस)