रायपुर। गणतंत्र दिवस के अवसर पर ‘हल्बी बालबोधिनी’ पुस्तक (Halbi Balbodhini book) का विमोचन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) करेंगें। राष्ट्रीय नई शिक्षा नीति 2020 एवं राष्ट्रीय पाठ्यक्रम रूपरेखा 2022 के अंतर्गत तीन से आठ साल तक के बच्चों को मातृभाषा, घर की भाषा, तथा आंचलिक भाषा में शिक्षा दान की व्यवस्था की गई है। भारत के आदिवासी बहुल क्षेत्रों के बच्चों को पठन-पाठन में कठिनाई होती है। बच्चों के ज्ञानात्मक स्तर व सामान्य बोली भाषा को ध्यान में रखते हुए भाषा शिक्षण पुस्तक ‘हल्बी बालबोधिनी’ तैयार की गयी है।
हल्बी बालबोधिनी में मातृभाषा हल्बा के साथ हिंदी और अंग्रेजी के शब्दों के साथ चित्र एवं कविता के माध्यम से वर्णमाला, बारहखड़ी, गिनती आदि का समावेश है। यह पुस्तक हल्बा जनजाति क्षेत्र विशेषकर छत्तीसगढ़ के साथ मध्यप्रदेश, महाराष्ट्र, उड़ीसा और असम में नया शिक्षा सत्र 2024-25 के लिए भारत सरकार द्वारा राज्य सरकार को उपलब्ध कराई जाएगी।
इस पुस्तक की रचना में लतेलराम नाईक अध्यक्ष आदिवासी हल्बा समाज छत्तीसगढ़ महासभा, शिवकुमार पात्र पूर्व अध्यक्ष एवं संरक्षक हल्बा समाज छत्तीसगढ़ महासभा, बिरेंद्र चनाप अध्यक्ष छत्तीसगढ़ महासभा, एवं डॉ रतिराम साहनी का विशेष सहयोग रहा। हल्बी बालबोधिनी पुस्तक रचना करने के लिए कृष्णपाल राणा, दामेसाय बघेल और हेमलता बघेल को भारतीय भाषा संस्थान शिक्षा मंत्रालय, उच्चतर शिक्षा विभाग भारत सरकार द्वारा प्रशस्ति पत्र देकर भुवनेश्वर में सम्मानित किया है।
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